विशाखा समिति की रिपोर्ट पर 3 दिनों के भीतर होगी कार्यवाही… विधानसभा में स्वास्थ्य मंत्री जायसवाल की घोषणा…

मिसाल न्यूज़

रायपुर। विधानसभा में आज भाजपा विधायक श्रीमती भावना बोहरा के सवालों के जवाब देते हुए स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने घोषणा की कि आयुर्वेदिक कॉलेज रायपुर के मामले में विशाखा समिति ने जो जांच रिपोर्ट दी उस पर 3 दिनों के भीतर कार्यवाही करेंगे।

प्रश्नकाल में भाजपा विधायक श्रीमती भावना बोहरा का सवाल  था कि विशाखा समिति चिकित्सा शिक्षा के कौन-कौन से महाविद्यालय एवं चिकित्सालय में सक्रिय/क्रियाशील हैं? चिकित्सा शिक्षा अंतर्गत इस समिति का प्रमुख कौन होता है एवं समिति में कितने सदस्य होते हैं? सदस्य बनने हेतु योग्यता क्या होती है? समिति बनाने हेतु किन नियमों का पालन किया जाता है? वर्ष 2021 से 2025 तक आयुर्वेदिक महाविद्यालय एवं चिकित्सालय में विशाखा समिति को कितने शिकायत या आवेदन प्राप्त हुए? प्राप्त शिकायतों में कितनी शिकायतों का निराकरण किया गया?

स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल की ओर से जवाब आया कि चिकित्सा शिक्षा विभाग अंतर्गत अधीनस्थ संस्थाओं में विशाखा दिशा-निर्देश अंतर्गत समिति गठित है। उक्त गठित समिति का प्रमुख महिला होना आवश्यक है। समिति में आधे से अधिक सदस्य महिला होना आवश्यक है। सदस्यों की संख्या के संबंध में कोई उल्लेख नहीं है। समिति बनाने हेतु सर्वोच्च न्यायालय, नई दिल्ली के व्दारा जारी दिशा-निर्देश एवं निर्धारित मापदण्ड (विशाखा एवं अन्य विरूद्ध राजस्थान सरकार एवं अन्य (JT 1997 (7)SC 384)) / महिलाओं के कार्य स्थल पर लैगिंक उत्पीड़न (निवारण, प्रतिषेध एवं प्रतितोष) अधिनियम, 2013 के दिशा-निर्देशों/नियम का पालन किया जाता है। प्रश्नांकित अवधि में शासकीय आयुर्वेद महाविद्यालय चिकित्सालय रायपुर में 01 आवेदन प्राप्त हुआ, जिसका निराकरण किया गया है। वर्तमान में कोई शिकायत लंबित नहीं है।

श्रीमती भावना बोहरा ने कहा कि 2017-18 का आयुर्वेदिक कॉलेज रायपुर का मामला है। विशाखा समिति ने जांच में डॉ. जी. आर. चतुर्वेदी को दोषी पाया था। सरोज परहाते जो जांच में शामिल थीं उन्हें ही विशाखा समिति से हटा दिया गया। उल्टे चतुर्वेदी को प्रमोशन दे दिया गया। सात वर्षों से इस मामले की जांच लंबित है। मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने कहा कि प्रदेश में किसी भी माता-बहन के साथ गलत व्यवहार बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। भावना बोहरा ने पूछा कि क्या संबंधित मामले की वापस जांच होगी? दोषी लोगों कि खिलाफ उचित कार्यवाही होगी? स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि उक्त मामले को उच्च न्यायालय ने संज्ञान में लिया। 9 जनवरी 2023 को जांच बैठी थी। डॉ. जी. आर. चतुर्वेदी के खिलाफ कार्यवाही की अनुशंसा हुई है। इस मामले में 3 दिनों के भीतर कार्यवाही करेंगे।

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