कांग्रेस की मुख्य निर्वाचन आयुक्त से शिकायत- बृजमोहन अग्रवाल ने 100 से अधिक साधु-संतों को छत्तीसगढ़ बुलाकर किया आचार संहिता का उल्लंघन

मिसाल न्यूज़

रायपुर। कांग्रेस ने रायपुर दक्षिण विधानसभा क्षेत्र के भाजपा प्रत्याशी बृजमोहन अग्रवाल द्वारा देश के अलग-अलग राज्यों से 100 से अधिक साधु-संतों को बुलाने को लेकर मुख्य निर्वाचन आयुक्त से शिकायत की है। लिखित शिकायत में कहा गया कि बृजमोहन अग्रवाल ने अपने व्यक्तिगत चुनावी प्रचार के लिये और छत्तीसगढ़ में धर्म के आधार पर वोटों के ध्रुवीकरण के लिये 100 से अधिक साधु और संतों को बुलाया जो आदर्श आचार संहिता का सीधा उल्लंघन है।

कांग्रेस ने निर्वाचन कार्यालय में लिखित शिकायत करते हुए कहा कि बृजमोहन अग्रवाल द्वारा 100 से अधिक साधु-संतों और पुजारियों के विभिन्न राज्यों से आने जाने की व्यवस्था करने, उनके रहने और ठहरने का पूरा इंतजाम, भोजन की व्यवस्था एवं धार्मिक जुलूस के लिये सैकड़ों गाड़ियां, साउंड सिस्टम, बड़े-बड़े स्पीकर, बैनर-पोस्टर और प्रचार के अन्य साधन इस्तेमाल करने में लगभग 15 लाख रू. का खर्च किया गया। इसे अग्रवाल के चुनावी खर्च में शामिल किया जाये। साथ ही आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन होने के कारण कार्यवाही भी की जाये।

कांग्रेस संचार विभाग के अध्यक्ष सुशील आनंद शुक्ला ने कहा कि राजिम पुन्नी मेला छत्तीसगढ़ संस्कृति की पहचान है जिसे संस्कृति मंत्री रहते बृजमोहन अग्रवाल ने केवल अपने राजनैतिक लाभ के लिये कुंभ का नाम दिया। सनातन परंपरा में कुंभ के लिए केवल चार स्थल ही चिन्हांकित हैं। बृजमोहन अग्रवाल मंत्री रहते में छत्तीसगढ़ के संतों की उपेक्षा कर, तथाकथित राजिम कुंभ आयोजन में बाहर के साधु संतों को बुलाया करते थे। क्या अग्रवाल छत्तीसगढ़ के साधु- संतों को महान और सम्मानित नहीं मानते? आखिर देश के विभिन्न राज्यों से साधु और संतों को बुलाने की आवश्यकता क्यों पड़ी ? इस बात का जवाब उन्हें देना चाहिये।

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